संतकबीरनगर जिले के जिला मुख्यालय स्थित प्रतिष्ठित शैक्षणिक संस्थान सूर्या इंटरनेशनल एकेडमी में लो कसभा चुनाव को लेकर एक महत्वपूर्ण बैठक हुई। इस बैठक में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के जिला प्रचारक राजीव नयन बतौर मुख्य अतिथि पहुंचे थे जिनका एकेडमी के एमडी डॉक्टर उदय प्रताप चतुर्वेदी के नेतृत्व में जोरदार स्वागत हुआ। बैठक का संचालन वाइस प्रिंसिपल शरद त्रिपाठी ने किया। इस दौरान एकेडमी के शिक्षक अशोक चौबे और अन्य ने देश के गौरवशाली इतिहास को सबके सामने रखते हुए चुनाव में प्रबुद्ध जनों की सहभागिता पर चर्चा किया। वहीं इस बैठक में जिले के जिला पंचायत अध्यक्ष बलराम यादव बतौर विशिष्ट अतिथि के रूप में मौजूद रहे। लोकसभा चुनाव में शत प्रतिशत मतदान के साथ एक राष्ट्रवादी सरकार बनाने की अपील करते हुए आरएसएस के जिला प्रचारक ने सबसे पहले देश की महान संस्कृति का उल्लेख किया, फिर वसुधैव कुटुंबकम् को परिभाषित करते हुए कहा कि देश को विश्व गुरु तभी बनाया जा सकता है जब देश में एक राष्ट्रवादी सरकार बनेगी। देश के वीर सपूतों का जिक्र करते हुए उन्होंने धार्मिक सफलताओं पर चर्चा करते हुए जहां राम मंदिर निर्माण की दिशा में चर्चा की वहीं उन्होंने काशी कारीडोर को लेकर कहा कि जिस राम मंदिर के लिए हमने सदियों तक संघर्ष किया वह आज बनकर तैयार हो गया जिसके चलते अयोध्या और काशी में रोजगार के अवसर इतने बढ़ गए कि एक नाव चलाने वाला और ई रिक्सा चलाने वाला व्यक्ति दिन में चार से पांच हजार रुपए तक की कमाई कर रहा है। उन्होंने कहा कि ये सब एक राष्ट्रवादी सरकार की ही देन है जिसमे देश की परंपरा आस्था और संस्कृति को बढ़ावा देने का कार्य किया। अपने संबोधन में उन्होंने शिक्षकों से अपील करते हुए कहा कि माता पिता के बाद यदि बच्चा किसी के आदेशों को सुनता है तो वह शिक्षक है इसलिए पठन पाठन कार्य संपादित करने के बाद आप सभी शिक्षक समाज के लोगो से मिले और उनसे बात चीत कर एक राष्ट्रवादी सरकार बनाने के लिए प्रेरित करें। अपने संबोधन में उन्होंने एकेडमी के प्रबंध निदेशक डॉ उदय प्रताप चतुर्वेदी की प्रशंसा करते हुए कहा कि अयोध्या राम मंदिर निर्माण में जिस तरह से डॉक्टर उदय प्रताप जी ने बढ़चढ़ कर योगदान दिया वह यह साबित करता है कि श्री चतुर्वेदी सदैव धर्म के काज हेतु आतुर रहते हैं। हिंदी फिल्म दीवार के एक डायलॉग को उदाहरण के रूप में रखते हुए जिला प्रचारक राजीव नयन ने कहा कि फिल्म के नायक ने जिस मकान को खरीदा था उस मकान के निर्माण कार्य में उसकी मां ने मजदूरी करते हुए ईट रखी थी इसलिए इस मकान की कीमत चाहे जितना होता उसको खरीद ही लेता क्योंकि इस मकान में मेरी मां की मेहनत लगी थी। ठीक इसी प्रकार श्रीराम मंदिर निर्माण में जिस तरह से डॉक्टर उदय जी ने बढ़ चढ़कर योगदान दिया वह अपने आप में ये दर्शाता है कि डॉक्टर उदय कितने बड़े धार्मिक स्वभाव वाले व्यक्ति है जो राम काज को सदा आतुर रहते है।