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सत्यमेव टाइम्स में आपका स्वागत है सुलतानपुर - पिछले 17 दिनों से एक पिता अपने बेटे का शव डीप फ्रीजर में रख कर न्याय की गुहार लगा रहा है। लेकिन प्रशासन है कि उसने आंखों पर पट्टी बांध रखी है। मृतक के पिता ने दोबारा पोस्टमार्टम के लिये प्रशासन की चौखट पर जाकर अर्जी दी। जब सुनवाई नही हुई तो उसने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। 👉 बेटे की थी लव मैरेज, अब बहू पर शक - मामला कूरेभार थानाक्षेत्र के पूरे सूबेदार पाठक गांव का है। गांव निवासी शिव प्रसाद पाठक का बेटा शिवांश दिल्ली में अपने सहयोगी वरुण वर्मा के साथ एक्सीगो इंफोटेक प्राइवेट लिमिटेड कंपनी चलाता था। इसी कंपनी में बतौर एचआर के पद पर काम कर रही गुरमीत कौर से उसकी दोस्ती हुई। दोस्ती धीरे धीरे प्यार में बदल गई। दोनो ने एक दूसरे के साथ जीने मरने की कसमें खाने लगे। अंत में 2013 में दोनों ने शादी रचा डाली। गुरमीत और शिवांश से एक वर्ष की बेटी भी है। इसी बीच बीते 1 अगस्त को संदिग्ध परिस्थितियों में शिवांश की मौत हो गई। परिजन आशंका जता रहे हैं कि शिवांश की पत्नी और सहयोगी वरुण ने संपत्ति के लालच के इसकी हत्या करवा दी है। 👉 दिल्ली में नहीं मिला परिजनों को न्याय - दिल्ली पहुंचे शिवांक के भाई इशांक पाठक ने इन लोगों के खिलाफ बेगमपुर थाने में तहरीर दी। लेकिन पुलिस ने मुकदमा दर्ज नही किया। परिजन पोस्टमार्टम में भी दिल्ली पुलिस की भूमिका संदिग्ध बता रहे हैं। वहां से न्याय न मिलता देख परिजन शिवांश का शव लेकर सुल्तानपुर में पैतृक गांव पहुंच गए और उसे डीप फ्रीजर में रख दिया। दोबारा पोस्टमार्टम के लिये डीएम और एसपी से गुहार लगाई। लेकिन अधिकारियों में पल्ला झाड़ लिया। लिहाजा पिता दिल्ली हाइकोर्ट के साथ-साथ दीवानी कोर्ट में दोबारा पोस्टमार्टम के लिये अर्जी लगाई गई है। ताकि सच्चाई सामने आ सके। फिलहाल अभी तक इस मामले में कोर्ट का कोई आदेश नही आ सका है। शिव प्रसाद का आरोप है कि बेटा अपने ससुराल के दबाव में था। उसने दो फ़्लैट और 85 लाख रुपए भी अपनी पत्नी के नाम कर दिए थे। उसकी पत्नी के मायके वाले उस पर दबाव बनाते रहते थे। जिसकी वजह से वह परेशान चल रहा था। इन सब में उसकी पत्नी का सहयोग बेटे का बिजनेस पार्टनर वरुण करता था। यही वजह है कि मुझे संदेह है कि मेरे बेटे की हत्या की गयी है।

सुलतानपुर – पिछले 17 दिनों से एक पिता अपने बेटे का शव डीप फ्रीजर में रख कर न्याय की गुहार लगा रहा है। लेकिन प्रशासन है कि उसने आंखों पर पट्टी बांध रखी है। मृतक के पिता ने दोबारा पोस्टमार्टम के लिये प्रशासन की चौखट पर जाकर अर्जी दी। जब सुनवाई नही हुई तो उसने कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है।

👉 बेटे की थी लव मैरेज, अब बहू पर शक –

मामला कूरेभार थानाक्षेत्र के पूरे सूबेदार पाठक गांव का है। गांव निवासी शिव प्रसाद पाठक का बेटा शिवांश दिल्ली में अपने सहयोगी वरुण वर्मा के साथ एक्सीगो इंफोटेक प्राइवेट लिमिटेड कंपनी चलाता था। इसी कंपनी में बतौर एचआर के पद पर काम कर रही गुरमीत कौर से उसकी दोस्ती हुई। दोस्ती धीरे धीरे प्यार में बदल गई। दोनो ने एक दूसरे के साथ जीने मरने की कसमें खाने लगे। अंत में 2013 में दोनों ने शादी रचा डाली।

गुरमीत और शिवांश से एक वर्ष की बेटी भी है। इसी बीच बीते 1 अगस्त को संदिग्ध परिस्थितियों में शिवांश की मौत हो गई। परिजन आशंका जता रहे हैं कि शिवांश की पत्नी और सहयोगी वरुण ने संपत्ति के लालच के इसकी हत्या करवा दी है।

👉 दिल्ली में नहीं मिला परिजनों को न्याय –

दिल्ली पहुंचे शिवांक के भाई इशांक पाठक ने इन लोगों के खिलाफ बेगमपुर थाने में तहरीर दी। लेकिन पुलिस ने मुकदमा दर्ज नही किया। परिजन पोस्टमार्टम में भी दिल्ली पुलिस की भूमिका संदिग्ध बता रहे हैं। वहां से न्याय न मिलता देख परिजन शिवांश का शव लेकर सुल्तानपुर में पैतृक गांव पहुंच गए और उसे डीप फ्रीजर में रख दिया। दोबारा पोस्टमार्टम के लिये डीएम और एसपी से गुहार लगाई। लेकिन अधिकारियों में पल्ला झाड़ लिया। लिहाजा पिता दिल्ली हाइकोर्ट के साथ-साथ दीवानी कोर्ट में दोबारा पोस्टमार्टम के लिये अर्जी लगाई गई है। ताकि सच्चाई सामने आ सके। फिलहाल अभी तक इस मामले में कोर्ट का कोई आदेश नही आ सका है।

शिव प्रसाद का आरोप है कि बेटा अपने ससुराल के दबाव में था। उसने दो फ़्लैट और 85 लाख रुपए भी अपनी पत्नी के नाम कर दिए थे। उसकी पत्नी के मायके वाले उस पर दबाव बनाते रहते थे। जिसकी वजह से वह परेशान चल रहा था। इन सब में उसकी पत्नी का सहयोग बेटे का बिजनेस पार्टनर वरुण करता था। यही वजह है कि मुझे संदेह है कि मेरे बेटे की हत्या की गयी है।

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