संतकबीरनगर। विशेष सचिव प्रशासन, उ0प्र0 शासन/नोडल अधिकारी गोसंरक्षण राम नरायन सिंह यादव की अध्यक्षता में जनपद में अवशेष निराश्रित गोवंश को शत प्रतिशत संरक्षित किये जाने के संबंध में किये जा रहें कार्याे के प्रभावी क्रियान्वयन एवं जनपद के गो-आश्रय स्थलों में संरक्षित गोवंशों के भरण पोषण, देख-रेख आदि से सम्बंधित समीक्षा बैठक विकास भवन सभागार में आयोजित हुई। जनपद में गोसंरक्षण से सम्बंधित आयोजित समीक्षा बैठक में विशेष सचिव/नोडल अधिकारी ने जनपद के सभी विकास खण्डों में संचालित गो-आश्रय स्थलों की सख्या, संरक्षित गोवंशों की संख्या, भरण पोषण की स्थिति, चारें की उपलब्धता, संरक्षित गोवंशों का स्वास्थ्य, सहभागिता योजनान्तर्गत सुपुर्द किये गये गोवंशों की संख्या, गोवंशों का टीकाकरण एवं स्वास्थ्य परीक्षण आदि से सम्बंधित बिन्दुवार जानकारी सम्बंधित विकास खण्डों के खण्ड विकास अधिकारियों एवं पशु चिकित्साधिकारियों से प्राप्त करते हुए गहन समीक्षा किया एवं आवश्यक दिशा निर्देश भी दिये। नोडल अधिकारी ने मुख्य पशु चिकित्साधिकारी सहित जनपद के सभी पशु चिकित्साधिकारियों एवं खण्ड विकास अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि शासन की मंशा के अनुरूप निराश्रित गोवंशों का संरक्षण एवं भरण पोषण की स्थिति निर्धारित प्रारूप पर सत्यापन कर आख्या उपलब्ध करा दें। उन्होंने कहा कि यदि किसी गोआश्रय स्थलों में किन्ही कारणवश गोवंशों की संख्या मानक से ज्यादा है तो आवश्यकतानुसार कुछ गोवंशों को दूसरें गोसंरक्षण केन्द्रों में संरक्षित किया जाए। उन्होंने निर्देश दिया कि गोवंशों के भरण पोषण एवं संरक्षण में किसी भी तरह की लापरवाही कदापि न बरती जाए तथा समय-समय पर गोवंशों का स्वास्थ्य परीक्षण भी किया जाता रहे। नोडल अधिकारी ने अधिशाषी अधिकारी नगर पालिका सहित समस्त सम्बंधितों को निर्देशित किया है कि यदि कोई गोवंश निराश्रित रूप से छुट्टा धूमता हुआ पाया जाता है तो तत्काल उसे गो संरक्षण केन्द्र में संरक्षित किया जाए जिससे किसानों के फसलों को नुकसान न होने पाये, इसे गम्भीरता से लिया जाए। नोडल अधिकारी ने चारागाह की जमीन पर हरा चारा उगाने का निर्देश देते हुए कहा कि गोवंशों के संरक्षण हेतु गोआश्रय स्थल भी बनाया जाएगा। नोडल अधिकारी ने सभी खण्ड विकास अधिकारी एवं पुश चिकित्साधिकारी को निर्देशित किया कि जनपद के सभी गो-आश्रय स्थलों में जहां पर पर्याप्त जमीन हो वहां पर छायादार वृक्ष जरूर लगवाये, जिससे पशुओं को गर्मी में धूप से बचाया जा सकें। उन्होंने यह भी निर्देशित किया कि जिन गौशालाओं में बाउंड्रीवाल नही वहा पर भी बाउड्रीवाल भी बनाया जाए। नोडल अधिकारी ने सभी सम्बंधित अधिकारियों को निर्देशित किया कि जिन गो-आश्रय स्थलों में पशुओं को पानी पीने की व्यवस्था नही है वहा पर अतिशीघ्र पानी पीने की व्यवस्था कराई जाए। इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी संत कुमार, उप मुख्य चिकित्साधिकारी डा0 मनोज कुमार तृतीय, मुख्य चिकित्साधिकारी ए0के0 शाही, डी0सी मनरेगा जीशान रिजवी, पी0डी0 संजय कुमार नायक, जिला पंचायत राज अधिकारी, समस्त खण्ड विकास अधिकारी, सहायक विकास अधिकारी, सहित समस्त पशु चिकित्साधिकारी आदि उपस्थित रहे।